सावधान..टेलीग्राम एप पर साइबर ठग हैं सक्रिय
चंडीगढ़, 6 जुलाई। साइबर जालसाजों द्वारा नागरिकों को टेलीग्राम एप पर विभिन्न प्रकार से ठगा जा रहा है, जिसमें टेलीग्राम एप्लीकेशन पर विभिन्न प्रकार के मेसेज भेजकर धोखाधड़ी करना देखने में आ रहा है। टेलीग्राम एप पर साइबर ठग सक्रिय हैं, जो कई तरीकों से लोगों के साथ ठगी कर रहे है जैसे ऑनलाइन जॉब,पार्ट टाइम जॉब, टास्क पूरा करने जैसे वीडियो,चैनल को लाइक या सब्स्क्राइब कराने पर कमीशन का लालच देकर फ्राड किया जा रहा है। वहीं क्रिप्टो करंसी में निवेश के नाम पर टेलीग्राम ग्रुप में जोड़कर ग्रुप के अन्य सदस्यों द्वारा कई गुना लाभ बताकर पीड़ित को उनके बताये अनुसार क्रिप्टो करेंसी में निवेश करवाने के नाम पर ठगी की जाती है। ऐसे ही एक केस में हिसार निवासी बजरंग को साइबर ठगों ने भारी मुनाफे का लालच देकर अपने जाल में फंसाया और 8,91,000/- लाख रूपए की ठगी को अंजाम दिया। साइबर ठगी का पता चलते ही पीड़ित ने अपनी शिकायत तुरंत साइबर हेल्पलाइन 1930 पर दी जिसपर त्वरित कार्रवाई करते हुए साइबर ठग गिरफ्तार किए गए।
पुलिस प्रवक्ता ने बताया कि हिसार निवासी बजरंग को 11 जून को इनवेस्टमेंट के नाम पर मुनाफा का लालच देकर साईबर ठगों द्वारा 8,91,000/- रुपए का फ्रॉड किया गया। पीड़ित को जैसे ही साइबर ठगी का एहसास हुआ उसने तुरंत अपनी शिकायत साईबर हैल्पलाईन 1930 पर दर्ज करवाई। चूंकि शिकायत “गोल्डन टाइम पीरियड” में की गई थी, तो प्रदेश के साइबर चीफ ने तुरंत साइबर नोडल थाने को मामले की जांच करने के आदेश दिए जिसपर स्टेट नोडल साइबर थाना और हरियाणा साइबर अपराध समन्वय केंद्र की ऑपरेशन टीम ने काम करते हुए साइबर ठगी को रोका और साइबर ठगों को जेल की सलाखों के पीछे पहुंचाया।
विस्तृत जानकारी देते हुए उन्होंने बताया कि स्टेट नोडल साइबर थाना ने आरोपी चिराग पुत्र वेद निवासी हिसार और एक निजी बैंक कर्मी साहिल पुत्र सतीश निवासी हिसार को गिरफ्तार किया । इसके अलावा साइबर नोडल थाने द्वारा एक और आरोपी मोहित पुत्र मोहन निवासी फाजिल्का, पंजाब को गिरफ्तार किया गया।
प्रवक्ता ने बताया कि कि आरोपी मोहित को उसके एक दोस्त ने चीन में टेलीग्राम से CAPTAIN AMERICA (टेलीग्राम आई.डी) नाम के व्यक्ति के साथ जान पहचान करवाई थी। जो भारत में लोगों के साथ क्रिप्टो में निवेश करवाकर मुनाफा कमाने का लालच देकर धोखाधड़ी करते थे। वहीं आरोपी साहिल एक निजी बैंक में कार्यरत है। आरोपी साहिल कस्टमर के नाम पर फर्जी खाता खुलवाकर, आरोपी चिराग को 25000/- रुपए में बेच दिया था। बैंक खाते के साथ इन जालसाजों का मोबाईल नंबर रजिस्टर किया गया था जो खाता की यूपीआई आईडी चिराग ने दूसरे आरोपी मोहित को टेलिग्राम पर भेजी गई और उसके बाद मोहित ने वह यूपीआई आईडी टेलीग्राम पर Captain America को भेजी गई।
विदेश से ऑपरेट करते है टेलीग्राम चैनल
जांच के दौरान साइबर नोडल थाने को पता चला कि शिकायतकर्ता बजरंग से ठगी गई राशि अलग-2 खातों में ट्रान्सफर करवाई गई थी। सभी फर्जी ट्रांजेक्शन आरोपी चिराग के फर्जी खाता में भेजी गई थी। आरोपी फंस न जाए इसके लिए चिराग हिसार से चंडीगढ़ आकर सेक्टर 39 डी, सेक्टर 22 बी, के एरिया के एटीएम से निकलवा लिए थे और बाकी का कैश अलग-अलग पेट्रोल पंपों के कर्मचारियों को ऑनलाइन पेमेंट करके कैश ले लिया गया। कैश निकलवाने के बाद चिराग ने अपना 5% कमीशन रखकर, नकद राशि आरोपी मोहित को दे दी थी। मोहित द्वारा ट्रस्ट वॉलेट के माध्यम से यूएस डॉलर खरीदकर Captain America को भेजी गई। मुकदमा की तफ्तीश जारी है।
पुलिस प्रवक्ता के अनुसार अभी तक लगभग काफी सारे खातों में धोखाधड़ी की राशि को सर्कुलेशन करना पाया गया। तफ्तीश के दौरान सामने आया है कि अलग-2 शहरों में खाता बेचने वाले एजैंट बैठे हुए हैं। जो गरीब लोगों को पैसे का लालच देकर उनसे खाता की KIT लेकर साइबर ठगों तक पहुंचाते हैं। मुकदमा की तफ्तीश जारी है। अन्य आरोपियों की जल्द से जल्द गिरफ्तारी की जाएगी और विदेश में बैठें ठगों को भी नहीं बख्शा जाएगा।
इस मॉडस ऑपरेंडी में जालसाज बैंक खातों और यूपीआई आईडी का बंदोबस्त करते हैं और फिर यह जानकारी टेलीग्राम के माध्यम से विदेश से ऑपरेट कर रहे ठगों को भेजते हैं। फिर ये ठग यहाँ के लोगों से ठगे हुए पैसे इन खातों में भेजते हैं और यहाँ वाले जालसाज फिर इनको कैश निकाल कर विभिन्न प्लेटफॉर्म से यूएस डॉलर में बदल कर फिर से विदेश में बैठे ठगों को भेज देते हैं।
साइबर चीफ एडीजीपी ओ पी सिंह ने कहा कि ऐसी ठगी का मूल कारण जल्दी पैसा कमाना होता है। अक्सर लालच में आकर पीड़ित जालसाज़ों के चक्कर में फंस जाता है। पैसा निवेश करना एक जोखिम भरा कार्य है और आम जनता आज भी निवेश के बारे में जागरूक नहीं है। निवेश करने से पहले आरबीआई की गाइडलाइन्स ज़रूर पढ़ें। किसी भी टेलीग्राम ग्रुप में जुड़कर अपनी मेहनत की कमाई को ना खोएं। साइबर ठगी होने पर तुरंत अपनी शिकायत साइबर हेल्पलाइन नंबर 1930 पर ज़रूर दें।